Who is Purnesh Modi:Who is Purnesh Modi:

Who is Purnesh Modi : हाल ही में मानहानि के मामले में राहुल गांधी को दो साल की जेल की सजा ने उस व्यक्ति को सबसे आगे ला दिया है जिसने शिकायत दर्ज की थी जिसके कारण दोषी ठहराया गया था,

मोदी surname वाला आपत्तिजनक भाषण को लेकर जिस व्यक्ति ने राहुल को जेल तक पहुंचाया, उसका नाम पूर्णेश मोदी है। पुर्णेश सूरत पश्चिम seat से भाजपा विधायक है. कांग्रेस सांसद के दिए गए बयान पर भाजपा विधायक की याचिका आज से 4 साल पहले ही दायर की गई थी. Purnesh की इसी याचिका पर Surat Sessions Court ने राहुल को दो साल की सजा सुनाई।

भाजपा नेता पूर्णेश मोदी की जीवनी पर हम नजर डाले तो सूरत जिले की सूरत पश्चिम seat से चुने गए इस विधायक का जन्म 1965 में हुआ था। उनके पिता का नाम ईश्वर लाल मोदी है। मोदी professional graduate है। उन्होंने BCom करके 1992 में सूरत की सर चौवासी लॉ कॉलेज से एलएलबी की degree हासिल की।

राहुल गांधी के खिलाफ मानहानि मामले में बीजेपी के पूर्णेश मोदी जीते

हाल ही में 2022 के विधानसभा चुनाव में भाजपा ने पूर्णेश मोदी को सूरत पश्चिम सीट से टिकट दिया. जहाँ मोदी ने कांग्रेस प्रत्याशी संजय आर शाह को विशाल अंतर से शिकस्त दी. इसके अलावा पुर्णेश मोदी को सितंबर 2021 में भूपेंद्र पटेल की सरकार में सड़क और भवन मंत्री बनाया गया. हालांकि मंत्रालय के कामकाज में शिकायत आने के बाद 11 महीने के अंदर ही पूर्णेश मोदी से मंत्रीपद वापस ले लिया गया.

पूर्णेश मोदी। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेता और गुजरात सरकार में एक पूर्व मंत्री, मोदी 1984 से भाजपा से जुड़े हुए हैं, और वर्षों से पार्टी के भीतर विभिन्न पदों पर रहे हैं।

पेशे से वकील हैं पूर्णेश मोदी
22 अक्टूबर, 1965 को जन्मे पूर्णेश मोदी के पिता का नाम ईश्वरलाल मोदी था। उनका काफी पहले निधन हो गया था। तब पूर्णेश मोदी काफी छोटे थे। पूर्णेश मोदी ने बीकॉम के बाद एलएलबी की डिग्री ली है। ऐसे में उन्हें कानून की अच्छी समझ है। जब राहुल गांधी ने 2019 के लोकसभा चुनाव प्रचार के दौरान मोदी सरनेम पर टिप्पणी की थी तो उन्होंने मानहानि का मुकदमा कर दिया। जिसमें चार साल की कानूनी लड़ाई के बाद राहुल गांधी दोषी करार दिए गए और उन्हें दो साल की सजा हुई।

राजनीति में आने से पहले तक पूर्णेश मोदी पेशेवर तरीके से वकालत करते थे। सूरत के अडाजन इलाके में रहने वाले पूर्णेश मोदी की पत्नी का नाम बीनाबेन मोदी है। उनके एक पुत्र और दो बेटियां है। पूर्णेश मोदी विधायक बनने से पहले अपने मोढ़ (मोदी) समाज के कई संगठनों के पदाधिकारी और ट्रस्टी रह चुके हैं। लंबे समय से राजनीति में सक्रिय पूर्णेश मोदी के खिलाफ अभी तक कोई आपराधिक मामला नहीं है

राहुल गांधी के खिलाफ मोदी की शिकायत कांग्रेस नेता द्वारा 2019 में एक रैली के दौरान दिए गए एक बयान से संबंधित थी, जिसमें उन्होंने कथित तौर पर मोदी का नाम 2016 के बैंक घोटाले से जोड़ा था। मोदी ने बयान पर कड़ी आपत्ति जताई थी और गांधी के खिलाफ मानहानि का मुकदमा दायर किया था। अदालत ने गांधी को मोदी को बदनाम करने का दोषी पाया और उन्हें दो साल की जेल की सजा सुनाई, जिसे वह वर्तमान में अपील कर रहे हैं।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ अपने परिवार के साथ बीजेपी नेता पूर्णेश मोदी
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ अपने परिवार के साथ बीजेपी नेता पूर्णेश मोदी

मूलरूप से सूरती हैं पूर्णेश
सूरत कई दशक से बीजेपी का मजबूत गढ़ है। शहर में बीजेपी के पास कई बड़े नेता हैं, लेकिन पूर्णेश माेदी उन कुछ विधायकों और नेताओं में शामिल हैं। जो मूलरूप से सूरत के रहने वाले हैं। सूरती हैं और उनका सूरत से जुड़ाव है। कहते हैं पूर्णेश मोदी जब सूरत शहर बीजेपी के अध्यक्ष थे। तो उन्होंने सूरत शहर की आइकोनिक पहचान गोपी तलाब के जीर्णोद्वार में बड़ी भूमिका निभाई थी। आज यह तालाब सूरत की बड़ी पहचान है। पूर्णेश मोदी भले ही बीजेपी की टिकट पर तीसरी बार विधायक बने हैं और कुछ समय के गुजरात के कैबिनेट मंत्री रहे चुके हैं, लेकिन उनकी ज्यादा बड़ी पहचान एक अच्छे संगठनकार की है। इसके अलावा वह राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) की भी गुड बुक माने जाते हैं।

बूथ प्रमुख से की थी शुरुआत
पूर्णेश मोदी ने बीजेपी में राजनीति की शुरुआत एक सामान्य कार्यकर्ता के तौर पर की थी। सबसे पहले वह बूथ प्रमुख बने थे। इसके बाद उन्हें वार्ड प्रमुख की जिम्मेदारी मिली। वार्ड प्रमुख के तौर पर अच्छा काम करने के पार्टी ने उन्हें पार्षद का टिकट दिया। पूर्णेश मोदी पार्षद बने और सूरत महानगर पालिका में शासक पक्ष के नेता भी बने। बीजेपी में लंबे समय से सक्रिय रहे पूर्णेश मोदी को बीजेपी सूरत शहर अध्यक्ष के तौर पर दो कार्यकाल में पार्टी को लीड किया।

मेहनत से हासिल किया मुकाम

पूर्णेश मोदी से सालों से जुड़े अशोक गोहिल कहते हैं कि वे संगठन के आदमी हैं। वे कार्यकर्ताओं के लिए 24 घंटे उपलब्ध रहते हैं। यही वजह है कि जब 2012 में सूरत पश्चिम के विधायक का निधन हुआ तो टिकट के दावेदारों में वे कार्यकर्ताओं की पहली पसंद थे। सूरत में रहने वाले लेखक व स्तंभकार युवराज पोखरणा कहते हैं कि पूर्णेश मोदी मूलरूप से सूरती हैं। वे जिस तरह से इस पूरे मामले को लेकर कोर्ट में गए और सजा करवाई। यह कोई छोटी बात नहीं है। इससे अन्य नेता भी सतर्क होंगे और सावधानी बरतेंगे। पूर्णेश मोदी इसलिए ऐसा कर पाए क्योंकि वे खुद एडवोकेट हैं और मोदी जाति से आते हैं। उन्होंने इस केस को शिद्दत से लड़ा। जितनी सजा हो सकती थी। उतनी सजा करवाई। यह काफी महत्वपूर्ण है। रही बड़ी बात पूर्णेश मोदी का कद बढ़ने की, तो वे मैच्योर नेता हैं। मुझे नहीं लगता कि उन्होंने यह केस किसी प्रसिद्धि के लिए किया होगा। वे जरूर आहत हुए होंगे और इसीलिए उन्होंने इस राहुल गांधी की टिप्पणी को लेकर कानूनी लड़ाई लड़ी। जिसमें उन्हें जीत मिली।

मामले में मोदी की सफलता ने उन्हें सुर्खियों में ला दिया है और गुजरात में एक प्रमुख भाजपा नेता के रूप में अपनी स्थिति मजबूत कर ली है। 2022 में आगामी राज्य चुनावों के साथ, पार्टी में मोदी की भूमिका और भी महत्वपूर्ण होने की उम्मीद है, क्योंकि भाजपा राज्य में अपना गढ़ बनाए रखना चाहती है।

मोदी अपने मजबूत संगठनात्मक कौशल के लिए जाने जाते हैं और उन्होंने गुजरात में बीजेपी की चुनावी जीत में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। वह विशेष रूप से शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में विभिन्न सामाजिक पहलों में भी सक्रिय रूप से शामिल रहे हैं। राहुल गांधी पर उनके दृढ़ विश्वास को भाजपा के लिए एक महत्वपूर्ण जीत के रूप में देखा जा रहा है, जो राज्य में अपना प्रभुत्व बनाए रखने के लिए संघर्ष कर रही है।

अंत में, पूर्णेश मोदी की राजनीति में यात्रा घटनापूर्ण रही है और वे भाजपा में एक प्रमुख नेता के रूप में उभरे हैं। आने वाले वर्षों में पार्टी में उनकी भूमिका और अधिक महत्वपूर्ण होने की उम्मीद है, क्योंकि भाजपा गुजरात की राजनीति पर अपनी पकड़ बनाए रखना चाहती है।

By khabarhardin

Journalist & Chief News Editor

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